पानी की तरह श्वेत जो हर रंगो में समाहित हो जाता है उसी के अनुरुप ता-उम्र दीन दुखियों के लिए तत्पर खासकर आदिवासी एंव पिछड़ों के लिए देवी के रुप
पानी की तरह श्वेत जो हर रंगो में समाहित हो जाता है उसी के अनुरुप ता-उम्र दीन दुखियों के लिए तत्पर खासकर आदिवासी एंव पिछड़ों के लिए देवी के रुप
भारत में फागुन महीने के पूर्णिंमा या पूर्णमासी के दिन हर्षोउल्लास से मनाये जाने वाला रंगों से भरा हिदुओं का एक प्रमुख त्योहार है। लोग इस पर्व का इंतजार बड़ी
हमारी भारतीय संस्कृति ने सदैव ही नारी जाति का स्थान पूज्यनीय एवं वन्दनीय रहा है, नारी का रूप चाहे मां के रूप में हो, बहन के रुप में हो, बेटी
यूनेस्को ने नवंबर 1999 में सभी लोगों, समुदायों, क्षेत्र व देशों की मातृभाषा को संरक्षण प्रदान करने के लिए 21 फरवरी का… यूनेस्को ने 17 नवंबर 1999 को अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा
पुण्य तिथि पर विशेष( 31 अक्टूबर) भारत में हरित क्रांति और गरीबी उनमुलन के प्रणेता आयरन लेडी इंदिरा गांधी का जन्म देश के एक आर्थिक एंव बैध्दिक रुप से सभ्रांत
आज भागमभाग भरी जिंदगी में मानव इस कदर उलझ गया है कि वो न अपने सेहत पे औऱ नाहीं प्रकृति को बचाने के प्रति ध्यान दे पाता हैं। इसके परिणामस्वरुप
सितंबर माह आते ही हर साल हिन्दी दिवस और पखवाड़ा मनाने की चहल पहल हर सरकारी दफ्तरों में शुरु हो जाती है औऱ हिन्दी दिवस के नाम पर करोड़ो रुपये
नई दिल्ली। आज मानव के अधिकारों के संरक्षण का संवैधानिक दर्जा पूरी दुनिया प्राप्त है। मानवअधिकारों से अभिप्राय ”मौलिकअधिकारों एवं स्वतंत्रत से है जिसके सभी मानव प्राणी समान रुप से
नई दिल्ली। लगभग200-300सालपहले इस दुनिया में मानवों में एड्स का नामोनिशान तक नही था। यह सिर्फ अफ्रीकीमहादेश में पाए जाने वाले एक विशेष प्रजाति के बंदरमें पाया जाता था ।
मानव के अधिकारों के संरक्षण का संवैधानिक दर्जा पूरी दुनिया प्राप्त है। मानवअधिकारों से अभिप्राय ”मौलिकअधिकारों एवं स्वतंत्रत से है जिसके सभी मानव प्राणी समान रुप से हकदार है। जिसमेंस्वतंत्रता,
बाबा साहव डा. भीमराव अंबेडकर दलितों के अभिमन्यु संविधान केबास्तुकार और युग निर्माता थे।डा. अंबेडकर का जन्म14अप्रैल1891में आधुनिक मध्य प्रदेश के मऊ नामक स्थान पर हुआ था । महार परिवार
लगभग 200-300 साल पहले इस दुनिया मेंमानवों में एड्स का नामोनिशान तक नही था। यह सिर्फ अफ्रीकी महादेश में पाए जानेवाले एक विशेष प्रजाति के बंदर में पाया जाता था
जवाहर लाल नेहरू के128वीं जन्म दिवस पर विशेष बच्चें हर देश काभविष्यऔर उसकी तस्वीर होते हैं। बच्चे ही किसी देश के आने वाले भविष्य को तैयारकरते हैं। लेकिन भारत जैसे
भारत में हरितक्रांति और गरीबी उनमुलन के प्रणेता आयरन लेडी इंदिरागांधी का जन्म देश के एक आर्थिक एंव बैध्दिक रुप से सभ्रांत परिवार में पं. जवाहरलाल नेहरु के घऱ में